छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में एक रहस्यमयी घटना ने सबको चौंका दिया है। मौलाना कारी बशीर पर अपनी गर्भवती पत्नी की हत्या कर शव को यूपी में गुपचुप दफनाने का सनसनीखेज आरोप लगा है। पड़ोसी चीख-पुकार की गवाही दे रहे हैं, वहीं मृतका की मां न्याय के लिए यूपी से बिलासपुर आ पहुंची। हरिभूमि डॉट कॉम की रिपोर्ट के बाद पुलिस हरकत में आई और अब पोस्टमार्टम रिपोर्ट मंगाई जा रही है। इस मामले ने पूरे इलाके में सनसनी फैला दी है और सवाल उठ रहे हैं कि क्या एक मौलाना ने अपने रसूख की आड़ में गुनाह को छिपाने की कोशिश की?
संदिग्ध हालातों में गायब हुई मौलाना की पत्नी
तालापारा, बिलासपुर में रहने वाले मौलाना कारी बशीर की पत्नी अचानक गायब हो गई थी। मोहल्लेवालों के मुताबिक, मौलाना ने मदरसा संचालिका को घर की छत पर बुलाया था, जिसका उसकी पत्नी ने विरोध किया। तभी मौलाना और उसके भाइयों ने मिलकर गर्भवती महिला के साथ मारपीट की। मोहल्ले में उस रात महिला की चीखें सुनाई दीं, जिसके बाद मौलाना पत्नी को एक ऑटो में बैठाकर अस्पताल ले गया — और तभी से न सिर्फ मौलाना और उसकी पत्नी, बल्कि पूरा परिवार भी गायब हो गया।
शव को चुपचाप यूपी ले जाकर किया गया दफन?
स्थानीय लोगों ने जब ऑटो चालक से पूछताछ की तो उसने बताया कि महिला को उल्टी हो रही थी और उससे तेज दुर्गंध आ रही थी। बाद में मोहल्लेवासियों ने यूपी में फोन कर जानकारी ली तो खुलासा हुआ कि महिला की मृत्यु हो चुकी है और शव को बिना किसी सूचना के दफना दिया गया। ये जानकार मोहल्लेवाले और मृतका की मां स्तब्ध रह गए। महिला की मां न्याय की गुहार लगाते हुए बिलासपुर के एसपी कार्यालय तक पहुंची और रोते हुए बेटी की हत्या की जांच की मांग की।
पुलिस प्रशासन हरकत में, जांच शुरू
हरिभूमि डॉट कॉम की रिपोर्ट के बाद मामले ने तूल पकड़ा और एसएसपी रजनेश सिंह ने इसे गंभीरता से लेते हुए यूपी के बलरामपुर एसपी से पोस्टमार्टम रिपोर्ट मंगवाने को कहा है। साथ ही सीएसपी सिविल लाइन को निर्देश दिए गए हैं कि मामले की हर एंगल से जांच की जाए। हालांकि, सवाल ये है कि 17 जुलाई को दर्ज शिकायत के बावजूद पुलिस ने अब तक मामले में सक्रियता क्यों नहीं दिखाई?
मोहल्लेवालों का फूटा गुस्सा, मौलाना के खिलाफ मोर्चा
मुस्लिम समुदाय के लोग खुद मौलाना के खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं। मोहल्लेवालों का कहना है कि मौलाना कारी बशीर ने अपनी पत्नी की हत्या की है और अब पूरे परिवार समेत फरार है। इस बात की पुष्टि इस बात से भी होती है कि घटना के बाद से ही उसका घर बंद पड़ा है, बच्चे भी स्कूल नहीं गए, और फोन भी बंद आ रहा है।
बिलासपुर का यह मामला न केवल स्थानीय पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े करता है, बल्कि समाज में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर भी चिंता पैदा करता है। एक गर्भवती महिला की इस तरह से संदिग्ध परिस्थितियों में मौत और फिर बिना सूचना के अंतिम संस्कार ये सब एक सोची-समझी साजिश की ओर इशारा कर रहे हैं। अब देखना होगा कि पुलिस जांच में क्या सच सामने आता है।

