रायपुर। कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय रायपुर में समावेशी विकास एवं युवाओं की भागीदारी विषय पर एक दिवसीय शैक्षणिक कार्यशाला का आयोजन किया गया। सहभागी विकास एवं सुशासन को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध गैर सरकारी संगठन समर्थन रायपुर का इस आयोजन में तकनीकी सहयोग रहा।
मुख्य अतिथि के रूप में रायपुर के संभागायुक्त एवं कुलपति महादेव कावरे ने कहा कि छत्तीसगढ़ के विकास पथ में युवाओं को मुख्यधारा में लाने में संचार क्रांति की निर्णायक भूमिका रही है। दूरस्थ क्षेत्रों तक समाचार पत्रों और डिजिटल मीडिया की पहुंच ने युवाओं को उच्च एवं तकनीकी शिक्षा की ओर प्रेरित किया है। उन्होंने कहा कि “मैं स्वयं बीजापुर के एक छोटे से गांव से हूँ, राज्य गठन के बाद जिस तरह शिक्षा और विकास की पहुंच बढ़ी है, उसका परिणाम है कि बस्तर के युवाओं ने शांति और समावेशी विकास की इबारत लिखी है।”
विजन 2047 की चर्चा
उद्घाटन सत्र में कुलपति कावरे ने विजन 2047 की अवधारणा पर प्रकाश डालते हुए कहा कि बस्तर, जशपुर और सरगुजा जैसे क्षेत्रों में रेडियो और सामुदायिक रेडियो ने डिजिटल संचार की सीमाओं के बावजूद विकास संवाद को गति दी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के “मन की बात” कार्यक्रम के माध्यम से जनमन से संवाद ने दूरदराज क्षेत्रों में भी जागरूकता लाई है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में विजन 2047 के तहत युवाओं, महिलाओं, आदिवासियों और ग्रामीण समाज को विकास प्रक्रिया का केंद्र बनाया गया है। राज्यपाल रमेन डेका के मार्गदर्शन में योजनाओं के क्रियान्वयन की गति और पारदर्शिता सुनिश्चित की जा रही है।
1.4 लाख से अधिक ऋण स्वीकृत
समापन सत्र में युनेस्को कम्युनिटी रिसर्च चेयरमैन और प्रिया के संस्थापक अध्यक्ष डॉ. राजेश टंडन ने युवाओं की भागीदारी को लोकतंत्र की मजबूती का आधार बताया। उन्होंने बताया कि डीडीयू-जीकेवाई, आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना और पीएम स्वनिधि योजना के जरिए 1.4 लाख से अधिक ऋण स्वीकृत हुए हैं, जिससे अनौपचारिक क्षेत्र की उद्यमिता को प्रोत्साहन मिला है।
विचार-विमर्श के केंद्र में रहे ये मुद्दे
कार्यशाला में डिजिटल, लैंगिक और जनजातीय असमानता को पाटने के लिए स्थानीय शासन और नीति निर्माण में युवाओं की आवाज को शामिल करने, युवाओं को लाभार्थी नहीं बल्कि विकास के भागीदार और प्रेरणास्त्रोत के रूप में स्थापित करने जैसे मुद्दों पर चर्चा हुई।
उपस्थित रहे ये विशेषज्ञ एवं संगठन
विशिष्ट अतिथियों में जेएनयू दिल्ली के पूर्व प्रोफेसर और समाजशास्त्री अमिताभ कुंडू, केटीयू कुलसचिव सुनील कुमार शर्मा, मनोज कुमार, डॉ. सत्यजीत साहू, आनंद शुक्ला, डॉ. नृपेन्द्र शर्मा, डॉ. राजेन्द्र मोहंती, पंकज नयन पांडेय, शैलेन्द्र खंडेलवाल सहित अन्य शिक्षाविद, अतिथि शिक्षक और सामाजिक कार्यकर्ता उपस्थित रहे। आयोजन के नोडल अधिकारी डॉ. आशुतोष मंडावी थे।
कार्यशाला में प्रदान, साथी, एफईएस, सृजन केन्द्र, पथ, शिखर युवा मंच, वाटर एड, पथ प्रदर्शक, चिराग, सेवा भास्कर, सहयोगी, जन सहयोग, सजग, आरोहण और जन साहस जैसे प्रमुख स्वयंसेवी संगठनों के कार्यकर्ता भी शामिल हुए।