नई दिल्ली – अब कुछ ही दिनों में जुलाई के महीने की शुरुआत होने जा रही है। धार्मिक दृष्टि से जुलाई का महीना बहुत ही खास रहेगा क्योंकि इस महीने शिव जी का प्रिय मास सावन आरंभ हो रहा है, जिसका शिव भक्तों को बेसब्री से इंतजार रहता है। इस वर्ष 11 जुलाई से सावन की शुरुआत हो रही है।
सावन के साथ-साथ इस महीने सुहागिनों के प्रमुख पर्व जैसे हरियाली तीज, सावन सोमवार व्रत, मंगला गौरी व्रत भी पड़ेंगे। इसके अलावा गुरु पूर्णिमा, नाग पंचमी, कोकिला व्रत, मुहर्रम, देवशयनी एकादशी और कामिका एकादशी जैसे धार्मिक पर्व भी इस महीने को विशेष बना रहे हैं। आइए जानते हैं जुलाई 2025 में कौन-कौन से व्रत और त्योहार किस तारीख को पड़ रहे हैं।
3 जुलाई को दुर्गा मासिक अष्टमी मनाई जाएगी, जिसमें मां दुर्गा के आठवें स्वरूप की पूजा की जाती है।
6 जुलाई को देवशयनी एकादशी आएगी। इस दिन से भगवान विष्णु चार महीने के लिए योग निद्रा में चले जाते हैं जिसे चातुर्मास कहा जाता है। इस अवधि में मांगलिक कार्य वर्जित माने जाते हैं।
8 जुलाई को भौम प्रदोष व्रत रखा जाएगा जो शिव आराधना और मंगल दोष निवारण के लिए विशेष फलदायी माना जाता है।
10 जुलाई को आषाढ़ पूर्णिमा, गुरु पूर्णिमा और कोकिला व्रत एक साथ पड़ रहे हैं। यह दिन वेदव्यास जी की जयंती के रूप में मनाया जाता है। लोग अपने-अपने गुरुओं का आशीर्वाद लेते हैं। कोकिला व्रत विवाहित स्त्रियों के सौभाग्य के लिए रखा जाता है।
11 जुलाई को सावन मास की शुरुआत होगी, जो पूरे महीने शिव भक्ति और साधना का अवसर प्रदान करता है।
सक्रिय हुआ मानसून: सरगुजा संभाग में भारी बारिश के आसार, प्रदेशभर में मौसम रहेगा मेहरबान
14 जुलाई को पहला सावन सोमवार और गजानन संकष्टी चतुर्थी मनाई जाएगी। सावन सोमवार को व्रत करने से शिव की विशेष कृपा प्राप्त होती है।
15 जुलाई को पहला मंगला गौरी व्रत रखा जाएगा, जिसमें विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी आयु और सौभाग्य के लिए व्रत करती हैं।
16 जुलाई को कर्क संक्रांति है। इस दिन सूर्य दक्षिणायन में प्रवेश करता है, जिससे अध्यात्मिक ऊर्जा में परिवर्तन आता है।
21 जुलाई को दूसरा सावन सोमवार और कामिका एकादशी है। यह दिन विशेष मनोकामनाओं की पूर्ति के लिए व्रत-उपवास का अवसर है।
22 जुलाई को सावन प्रदोष व्रत रखा जाएगा।
23 जुलाई को सावन शिवरात्रि है। इस दिन शिव भक्त जलाभिषेक, रात्रि जागरण और विशेष पूजन करते हैं। यही दिन कांवड़ यात्रा के समापन का भी समय होता है।
24 जुलाई को हरियाली अमावस्या, सावन अमावस्या और गुरु पुष्य योग एक साथ पड़ रहे हैं। यह दिन पितृ पूजन और वृक्षारोपण के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है।
27 जुलाई को हरियाली तीज का पर्व मनाया जाएगा। यह व्रत विवाहित स्त्रियों के अखंड सौभाग्य और अविवाहित कन्याओं के उत्तम वर की कामना के लिए किया जाता है।
28 जुलाई को तीसरा सावन सोमवार और विनायक चतुर्थी है।
29 जुलाई को नाग पंचमी और तीसरा मंगला गौरी व्रत पड़ेंगे। इस दिन नागों और शिवलिंग पर विराजे सर्पों की पूजा होती है, जिससे कालसर्प दोष का निवारण होता है।
30 जुलाई को कल्कि जयंती मनाई जाएगी, जो भगवान विष्णु के अंतिम अवतार को समर्पित है।
31 जुलाई को तुलसीदास जयंती मनाई जाएगी, जो रामचरितमानस के रचयिता गोस्वामी तुलसीदास जी की स्मृति में मनाई जाती है।
जुलाई 2025 का महीना धार्मिक उल्लास, भक्ति, व्रत और परंपराओं का अद्भुत संगम है। सावन के व्रत और पर्वों से यह महीना शिव भक्तों और श्रद्धालुओं के लिए विशेष बन जाता है। इस पूरे माह में भक्ति, संयम और साधना का भाव समाज में सकारात्मक ऊर्जा फैलाता है और पारिवारिक व सामाजिक जीवन में भी स्थायित्व लाता है।