नई दिल्ली। मोदी सरकार ने मंगलवार को एक अहम फैसले के तहत देश के विकास की रफ्तार को नई दिशा देने के लिए कई बड़ी योजनाओं को मंजूरी दी। रोजगार, शोध, खेल और आधारभूत संरचना जैसे क्षेत्रों को सशक्त करने की दिशा में उठाए गए इन कदमों को आर्थिक सुधारों की नई कड़ी माना जा रहा है। केंद्रीय कैबिनेट ने 1.07 लाख करोड़ रुपये की रोजगार प्रोत्साहन योजना (Employment Linked Incentive Scheme), 1 लाख करोड़ रुपये की अनुसंधान एवं नवाचार योजना (RDI Scheme), नई खेल नीति 2025 और 1,853 करोड़ रुपये की राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजना को हरी झंडी दी है।
रोजगार पर फोकस: 3.5 करोड़ नए रोजगार का लक्ष्य
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में रोजगार से जुड़ी प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी गई। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि इस योजना से अगले दो वर्षों में 3.5 करोड़ नए रोजगार सृजित करने का लक्ष्य रखा गया है। योजना का मुख्य उद्देश्य निर्माण क्षेत्र को मजबूती देना है।
योजना के दो हिस्से होंगे – एक, पहली बार नौकरी करने वालों के लिए, और दूसरा, स्थायी रूप से रोजगार देने वाली कंपनियों के लिए प्रोत्साहन। नए नियुक्त कर्मचारियों के लिए ₹3,000 प्रति माह तक की प्रोत्साहन राशि दो वर्षों तक दी जाएगी। यदि कर्मचारी का वेतन ₹1 लाख प्रति माह तक है, तो यह लाभ दिया जाएगा। निर्माण क्षेत्र में यह प्रोत्साहन तीसरे और चौथे वर्ष तक भी जारी रहेगा।
शोध और नवाचार को 1 लाख करोड़ का संबल
सरकार ने देश में अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा देने के लिए 1 लाख करोड़ रुपये की RDI योजना को भी स्वीकृति दी है। यह योजना राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन (ANRF) के अधीन लागू होगी, जिसने अमेरिका, जर्मनी, इजरायल और सिंगापुर जैसे देशों के शोध मॉडलों का अध्ययन कर इसके प्रारूप को तैयार किया है।
इस योजना से उच्च गुणवत्ता वाले अनुसंधान, स्टार्टअप्स और औद्योगिक नवाचार को बल मिलेगा। सरकार का मानना है कि इससे भारत को इनोवेशन ड्रिवन अर्थव्यवस्था बनाने की दिशा में मदद मिलेगी।
खेलो इंडिया से खेलो महाशक्ति तक: मंजूर हुई नई खेल नीति 2025
मोदी सरकार ने नई खेल नीति 2025 को मंजूरी दी है, जिसका लक्ष्य 2047 तक भारत को विश्व के शीर्ष पांच खेल राष्ट्रों की श्रेणी में शामिल करना है। अश्विनी वैष्णव ने कहा कि यह नीति प्रधानमंत्री मोदी की उस सोच का विस्तार है, जिसमें खेलों को जन आंदोलन के रूप में विकसित करने की बात की गई है।
नई नीति में ग्रामीण और पिछड़े क्षेत्रों में छिपी प्रतिभाओं को आगे लाने, आधारभूत ढांचे के विकास और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन में सुधार के लिए कई रणनीतिक प्रावधान किए गए हैं।
तमिलनाडु को मिला हाईवे प्रोजेक्ट का तोहफा
तमिलनाडु के रामनाथपुरम से परमकुडी तक के 46.7 किलोमीटर लंबे राजमार्ग को चार लेन में बदलने की परियोजना को भी मंजूरी दी गई है। इस पर 1,853 करोड़ रुपये खर्च होंगे। यह परियोजना राज्य के तटीय इलाकों के लोगों की लंबे समय से चली आ रही मांग थी।
मदुरै से परमकुडी तक पहले से ही चार लेन की सुविधा है, जिसे अब रामनाथपुरम तक बढ़ाया जाएगा। इसके आगे धनुषकोडी तक समुद्री मार्ग को जोड़ने के लिए डीपीआर तैयार किया जा रहा है।
इन फैसलों के जरिए केंद्र सरकार ने एक बार फिर यह संकेत दिया है कि ‘विकास, नवाचार और जनसामान्य की भागीदारी’ उसकी नीति का मूल मंत्र है। रोजगार सृजन से लेकर भारत को खेल महाशक्ति बनाने तक, ये योजनाएं आने वाले वर्षों में देश की सामाजिक-आर्थिक स्थिति को नई ऊंचाई देने की क्षमता रखती हैं
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