रायपुर। केंद्र सरकार ने 20 साल पुराने वाहनों के मालिकों को बड़ी राहत दी है। अब ऐसे वाहन स्वामी अपने पुराने दोपहिया, कार और मालवाहक वाहनों को अनिवार्य रूप से स्क्रैप (कबाड़) में नहीं बेचेंगे। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (MoRTH) ने हाल ही में एक अधिसूचना जारी कर सभी राज्य परिवहन विभागों को निर्देश दिया है कि 20 साल पुराने वाहन पुनः पंजीकरण (Re-Registration) के योग्य माने जाएंगे, बशर्ते वे तय मानकों पर खरे उतरें।
इस निर्णय के बाद अब वाहन मालिकों को अपने पुराने वाहनों को सड़क पर चलाने की कानूनी अनुमति मिलेगी, लेकिन इसके लिए उन्हें दोगुना शुल्क, फिटनेस जांच, और प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र (PUC) प्राप्त करना अनिवार्य होगा।
24 लाख से अधिक पुराने वाहन, बड़ी राहत
छत्तीसगढ़ में फिलहाल 24 लाख से अधिक वाहन 15 साल से ज्यादा पुराने हैं। इनमें से लगभग 10 लाख 26 हजार दोपहिया, तीनपहिया, कार और छोटे वाहन शामिल हैं। जबकि करीब 2 लाख वाहन अब अस्तित्व में नहीं हैं, जिन्हें ब्लैकलिस्ट कर कालातीत मान लिया गया है।
रायपुर जिले में ही 3 लाख 88 हजार 717 वाहन पंजीकृत हैं। इनमें से सबसे ज्यादा 3,09,094 मोटरसाइकिल और स्कूटर, 32,031 मोपेड, 47,464 कार और 128 ओमनी बस हैं। इनमें से करीब 25 प्रतिशत वाहनों का पुनः पंजीकरण हो चुका है, जबकि बाकी वाहनों के खिलाफ चालानी कार्रवाई की जा रही है।
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नए नियमों के तहत पुराने वाहनों के Re-Registration के लिए दोगुना शुल्क लगेगा। प्रस्तावित शुल्क इस प्रकार हो सकता है:
| वाहन श्रेणी | शुल्क (15-20 साल पुराने वाहन) |
|---|---|
| दोपहिया वाहन | ₹1000 – ₹2000 |
| तीनपहिया वाहन | ₹2500 – ₹5000 |
| कार | ₹5000 – ₹10000 |
| ट्रक / बस | ₹18000 – ₹24000 |
नोट: अंतिम शुल्क दरों को लेकर केंद्र सरकार मसौदा तैयार कर रही है, और दावे-आपत्तियों के बाद इसे अंतिम रूप दिया जाएगा।
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इस नीति से केंद्र और राज्य सरकारों को तीन स्तरों पर राजस्व प्राप्त होगा:
- पुनः पंजीकरण शुल्क के माध्यम से।
- यदि वाहन स्क्रैप किया जाता है, तो वाहन मूल्य का लाभ और नया वाहन खरीदने पर 5% की छूट।
- नए वाहन की खरीद पर 18% तक GST का लाभ।
साथ ही, राज्य सरकार रोड टैक्स में भी 15 से 25 प्रतिशत की छूट का प्रावधान रख सकती है।
विशेषज्ञों का मानना है कि 15-20 साल पुराने वाहन काफी अधिक प्रदूषण फैलाते हैं। इनसे कार्बन मोनोऑक्साइड, हाइड्रोकार्बन, नाइट्रोजन ऑक्साइड और अन्य सूक्ष्म प्रदूषक अधिक मात्रा में निकलते हैं। इसके अलावा, ऐसे वाहन अपनी सर्विस लाइफ के अंतिम चरण में होते हैं, जिससे सड़क सुरक्षा को भी खतरा रहता है।
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छत्तीसगढ़ के अपर परिवहन आयुक्त डी. रविशंकर ने जानकारी दी कि 15-20 साल पुराने वाहनों के रजिस्ट्रेशन शुल्क और प्रक्रिया को लेकर केंद्र सरकार ने मसौदा तैयार किया है। नोटिफिकेशन प्राप्त हो चुका है और दावे-आपत्तियों के निपटारे के बाद अंतिम निर्णय लिया जाएगा।
केंद्र सरकार का यह फैसला एक तरफ जहां वाहन मालिकों के लिए राहत है, वहीं सरकार के लिए राजस्व वृद्धि और वाहनों की निगरानी का अवसर भी है। अब देखना यह होगा कि इस नीति को राज्यों में किस तेजी से लागू किया जाता है।

