Captcha Code Fraud: साइबर अपराधी लोगों को चूना लगाने के लिए नए तरीके ढूंढते रहते हैं। इन दिनों कैप्चा कोड के नाम पर बड़ा स्कैम किया जा रहा है। आपने भी कई बार गूगल पर कुछ सर्च करते समय कैप्चा कोड वेरिफाई करने वाला प्रॉम्प्ट देखा होगा, जिसपर क्लिक करने के बाद आपको ‘I am not Robot’ वाला एक ऑप्शन मिलता है। इसे टिक करने के बाद आप आगे बढ़ पाते हैं। दरअसल सर्च इंजन इस तरह का कैप्चा कोड यह वेरिफाई करने के लिए लगाया जाता है ताकि कोई रोबोट इसका दुरुपयोग न कर पाए।
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कैप्चा कोड के जरिए स्कैम
साइबर अपराधी अब इस तरह के कैप्चा कोड के जरिए लोगों को चूना लगा रह हैं। सामने आ रही रिपोर्ट के मुताबिक, साइबर क्रिमिनल्स असली की जगह नकली कैप्चा कोड डालकर यूजर्स के फोन या कम्प्यूटर में मेलवेयर यानी वायरल भेज रहे हैं। ये वायरस यूजर्स के सिस्टम में जाकर उनकी जानकारियां चुराते हैं, जो साइबर क्रिमिनल्स को ठगी करने में मदद करते हैं।
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, साइबर ठग नकली कोड बनाकर लोगों को मेलवेयर डाउनलोड करने के लिए प्रेरित करते हैं। ये कैप्चा कोड खास तौर पर हैक की गई वेबसाइट फर्जी विज्ञापनों या फिर फिशिंग ई-मेल के जरिए यूजर्स तक भेजे जाते हैं। साइबर क्रिमिनल्स किसी भी लोकप्रिय वेबसाइट का डमी यानी फर्जी वेबसाइट बनाकर ब्राउजर नोटिफिकेशन ऑन करने का प्रॉम्प्ट स्क्रीन पर दिखाते हैं। यूजर्स जाने-अनजाने में इन पर क्लिक करके मेलवेयर को डाउनलोड कर लेते हैं।
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कैसे बचें?
- साइबर एक्सपर्ट्स की मानें तो नकली कैप्चा के जरिए ‘लुमा स्टीलर’ नाम का मेलवेयर फैलाया जा रहा है। इसके लिए यूजर्स को सावधानी बरतनी चाहिए। किसी भी वेबसाइट के नोटिफिकेशन को ऑन न करें।
- नकली कैप्चा पर क्लिक करना खतरनाक नहीं है, लेकिन उसके बाद दिए गए निर्देशों का पालन करना किसी खतरे से खाली नहीं है। ऐसे में कैप्चा पर क्लिक करने के बाद स्क्रीन पर आने वाले निर्देशों को इग्नोर करें।
- असली-नकली वेबसाइट की पहचान करने के लिए उसके URL की जांच कर लें। नकली वेबसाइट के URL में आपको स्पेलिंग मिस्टेक से लेकर कई ऐसी चीजें मिल जाएंगी, जो खुद बता देगी की ये वेबसाइट नकली है।