CBSE का बड़ा कदम: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड सीबीएसई ने छात्रों को डिजिटल प्लेटफार्म से जोड़ने के लिए एक नया कदम उठाया है. अब कक्षा 9 से कक्षा 12 तक के छात्रों को मौका मिलेगा कि वह सीधे बोर्ड के आधिकारिक पॉडकास्ट और सोशल मीडिया कार्यक्रमों में अपनी भागीदारी दर्ज करा सकें. बोर्ड का कहना है कि इस पहल का मकसद पढ़ाई और काउंसलिंग से जुड़ी सामग्री को और ज्यादा छात्र-केंद्रित बनाना है.
September 2025 School Holiday Calendar: जानें कब होंगी छुट्टियां और कितने दिन खुलेंगे स्कूल
छात्रों की भागीदारी क्यों जरूरी
सीबीएसई पिछले कुछ समय से शैक्षणिक विषयों, परीक्षा तनाव, करियर गाइडेंस और काउंसलिंग जैसे मुद्दों पर अपने इन-हाउस पॉडकास्ट और डिजिटल कंटेंट तैयार कर रहा है. यह सामग्री यूट्यूब जैसे प्लेटफार्म पर पहले से मौजूद है. लेकिन अब बोर्ड चाहता है कि इन पॉडकास्ट और सोशल मीडिया पोस्ट में छात्रों की भी सीधी आवाज शामिल हो. इसके लिए छात्र छोटे वीडियो, ऑडियो क्लिप, बातचीत और अनुभव साझा कर सकेंगे.
किन छात्रों को मिलेगा मौका
सर्कुलर के अनुसार स्कूल ऐसे छात्रों को नामित करें जो आत्मविश्वासी हो, स्पष्ट रूप से अपने विचार रख सकें और डिजिटल माध्यम पर सहज महसूस करते हों. इस प्रक्रिया में छात्रों की भागीदारी पूरी तरह स्वैच्छिक होगी और इसके लिए छात्र और अभिभावकों की लिखित सहमति जरूरी होगी.
नामांकन प्रक्रिया
सीबीएसई ने स्कूलों को निर्देश दिया है कि वह चयनित छात्रों का नाम और संक्षिप्त विवरण सर्कुलर जारी होने की तिथि से 10 दिनों के भीतर इस https://forms.gle/oJbJaYPaYBb7ifjN9 गूगल फॉर्म के माध्यम से भेजें. इसके बाद बोर्ड ने इन छात्रों को अपनी डिजिटल गतिविधियों में शामिल करेगा.
छात्रों के लिए फायदे
एक्सपर्ट्स का मानना है कि इस पहल से छात्रों को खुद को अभिव्यक्त करने का अवसर मिलेगा. इससे उनकी क्रिएटिविटी, आत्मविश्वास और कम्युनिकेशन स्किल्स को बढ़ावा मिलेगा. साथ ही वह शिक्षा और काउंसलिंग से जुड़े विषयों पर अपनी दृष्टि रख पाएंगे.
माइलेज घटेगा या बढ़ेगा? E20 fuel से गाड़ियों पर कैसा होगा असर, जानें पूरी डिटेल
शिक्षा जगत में बदलाव का संकेत
सीबीएसई का यह कदम दिखाता है कि बोर्ड अब न केवल परीक्षा आयोजित करने तक सीमित रहना चाहता है, बल्कि वह चाहता है कि छात्र शिक्षा संवाद का हिस्सा बने और उनकी आवाज सीधे डिजिटल प्लेटफार्म तक पहुंचे. आने वाले दिनों में यह पहल छात्रों और बोर्ड दोनों के बीच संवाद को और मजबूत करेगी.