धीरेन्द्र शास्त्री के बयान की बीजेपी ने की सराहना: कांग्रेस बोली- हम भी समर्थन करते हैं, लेकिन धर्म के नाम पर सियासत सही नहीं
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Updated At: 06 Jan 2024 at 12:26 AM
भोपाल। श्रीराम जन्मभूमि अयोध्या में 70 एकड़ भूमि में बने भव्य और नवनिर्मित राम मंदिर में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होनी है। लेकिन इससे पहले इस पर जमकर राजनीति हो रही है। इसे लेकर बीजेपी-कांग्रेस आमने सामने है। बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री के बयान का जहां बीजेपी ने समर्थन किया हो, तो वहीं कांग्रेस ने भी उनके बयान पर समर्थन करते हुए कहा कि धर्म के नाम पर सियासत सही नहीं है। बीजेपी प्रवक्ता पंकज चतुर्वेदी ने एक बयान देते हुए कहा कि धर्म ही हर चीज की धुरी है, धर्म है तो समाज है, धर्म है तो संस्कृति है, धर्म है तो सभ्यता है और यह सब है तो हमारा देश है। धर्म धारण करने की वस्तु है धर्म जीवन जीने, आचरण का विषय है। धर्म के आसपास सब केंद्रित है, धर्म ही हर चीज की धुरी है। उन्होंने कहा हम धर्म के प्रति कांग्रेस के व्यवहार से आहत हैं।
धर्म के नाम पर सियासत सही नहीं- कांग्रेस
इधर बीजेपी के बयान पर कांग्रेस ने भी पलटवार किया है। कांग्रेस ने बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री के बयान का समर्थन किया है। साथ ही कहा कि संविधान में धर्म को मानने की आजादी लेकिन धर्म पर राजनीति का अधिकार नहीं है। राम का नाम आस्था, पूजा, अर्चना, धर्म के विषय हैं, कुछ राजनीतिक दल धर्म के नाम पर राजनीति कर रहे है, ऐसे दल राजनीतिक रोटी सेंकने का काम बंद कर दें। कांग्रेस के मीडिया सलाहकार पीयूष बबेले ने कहा कि भारत के कण कण और रोम रोम में राम है। टुच्ची राजनीति और निजी स्वार्थ के लिए राम का सहारा लेना सरासर गलत है।
क्या कहा पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने
बागेश्वर धाम के धीरेंद्र शास्त्री ने कहा, “भगवान राम राजनीति का विषय नहीं हैं। धर्म से राजनीति चलती है. राजनीति से धर्म नहीं चलती…भगवान राम की स्वयं की नीति है- मर्यादा, एकता, संप्रभुता और विश्व में शांति है.”दरअसल, एनसीपी नेता जितेंद्र आव्हाड ने भगवान राम को लेकर विवादित बयान दिया था। उन्होंने कहा था, ”राम हमारे हैं और वह बहुजन हैं। राम शाकाहारी नहीं, मांसाहारी थे। वे शिकार करके खाते थे.” हालांकि उन्होंने अपने इस बयान को लेकर माफी भी मांग ली है। इसी बयान पर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने उन्हें मूर्ख और राक्षसी प्रवृत्ति का बताया है।